अंतर्राष्ट्रीय योग दिवस निबंध International Yoga Day Essay in Hindi

इस लेख में अंतर्राष्ट्रीय योग दिवस पर निबंध (International Yoga Day Essay in Hindi) स्कूल और कॉलेज के छात्रों के लिए लिखा गया है। इस लेख में अंतर्राष्ट्रीय योग दिवस क्या है, इसका इतिहास, महत्व इत्यादि महत्वपूर्ण जानकारियां शामिल की गई हैं।

अंतर्राष्ट्रीय योग दिवस पर निबंध (International Yoga Day Essay in Hindi)

भारत की संस्कृति द्वारा दुनिया को दिया गया एक अनमोल उपहार योग है। प्राचीन समय से शारीरिक, आध्यात्मिक और मानसिक स्थिति को बेहतर करने के लिए योगाभ्यास किया जा रहा है। 

योग एक ऐसी कला है, जो विश्व भर में लोगों को स्वास्थ्य के प्रति जागृत करता है। लोगों में शांति और सद्भाव कायम करने के लिए योग एक बेहतरीन अभ्यास है। हमारे पूर्वजों द्वारा यह दिया गया सबसे अनमोल उपहार है।

यदि जीवन में सफलता प्राप्त कर ली जाए, लेकिन अच्छा स्वास्थ्य न प्राप्त हो सके, तो प्राप्त की गई सफलता का कोई मूल्य नहीं रहेगा। अंतर्राष्ट्रीय योग दिवस लोगों को स्वस्थ रहने का एक सरल और प्राचीन मार्ग बताता है। 

भारत से उपजी यह पद्धति हजारों साल पुरानी है। योग केवल मनुष्य को व्यायाम करने के लिए ही लाभकारी नहीं है, बल्कि यह मानसिक चेतना तथा आध्यात्मिकता को भी बढ़ावा देता है।

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अंतर्राष्ट्रीय योग दिवस क्या है? What is International Yoga Day in Hindi

अंतरराष्ट्रीय योग दिवस यह हर साल 21 जून के दिन मनाया जाता है, जो पूरे साल में सबसे लंबा दिन होता है। पूरी दुनिया में पहली बार योग दिवस 21 जून 2015 के दिन मनाया गया, जिसकी शुरुआत भारत से हुई थी। 

आज दुनिया में करोड़ों लोग योग का महत्व समझते हुए उसे अपने जीवन में ढालने की कोशिश कर रहे हैं। यह तो सत्य है कि जीवन में कुछ प्राप्त हो या ना लेकिन अच्छे स्वास्थ्य की प्राप्ति अवश्य होनी चाहिए। 

स्वास्थ्य यह प्रत्येक मनुष्य का पहला ध्येय होना चाहिए। योग का महत्व हर किसी को समझना चाहिए और उसे अपने जीवन में एक सामान्य कार्य के रूप में अपनाना चाहिए।

भारत ने दुनिया को जो योग का अनमोल उपहार दिया है, वह आधुनिक युग में करोड़ों लोगों के जीवन में परिवर्तन ला रहा है। योग में इतनी शक्ति है कि यह भयानक से भयानक रोगों को भी जड़ से खत्म कर सकता है। 

आज के युग में लोग अपने कार्य शैली में इतने व्यस्त हो गए हैं, कि उन्हें जीवन में अपने स्वास्थ्य के लिए अलग समय निकालने का अवसर ही नहीं मिलता। यदि एक बार स्वास्थ्य खराब हो जाता है तो उसे ठीक करने में कई दिनों अथवा हफ्तों का समय लग जाता है। 

इससे बेहतर है कि कड़वी दवाइयों का सेवन करने से अच्छा योग करके स्वास्थ्य को तंदुरुस्त रखा जाए। योग दिवस की शुरुआत यह भारत की प्राचीन संस्कृति को जीवंत रखने का एक महत्वपूर्ण प्रयास है। 

अंतर्राष्ट्रीय योग दिवस यह किसी धर्म विशेष के लोगों के लिए नहीं बल्कि पूरे मानव समाज के लिए है, जो बिना किसी रुकावट के इसे अपने जीवन में अपना सकते हैं।

अंतर्राष्ट्रीय योग दिवस क्यों मनाया जाता है? – इतिहास Why is International Yoga Day celebrated? – History in Hindi

अंतरराष्ट्रीय योग दिवस की शुरुआत भारत से 2015 में हुई थी। 27 सितंबर 2014 में भारत के प्रधानमंत्री श्री नरेंद्र दामोदरदास मोदी ने संयुक्त राष्ट्र महासभा में अपने भाषण के दौरान अंतर्राष्ट्रीय योग दिवस मनाने का प्रस्ताव रखा था। 

प्रधानमंत्री ने अपने भाषण में दुनिया को यह बताया था, कि योग यह भारत की सबसे प्राचीन परंपरा का हिस्सा है जो एकता और स्वास्थ्य का प्रतीक है। योग यह मनुष्य को प्रकृति के साथ जोड़ने का कार्य करती है। 

आने वाले भविष्य में प्राकृतिक अथवा जलवायु परिवर्तन के समय भी योग लोगों के बदलती जीवन शैली में चेतना स्वरूप बनकर बीमारियों से निपटने में सहायता कर सकती है। उन्होंने अपने भाषण के दौरान ही लोगों को योग का महत्व समझाते हुए 21 जून के दिन को अंतरराष्ट्रीय योग दिवस मनाने की मंजूरी संयुक्त राष्ट्र सभा से मांगी।

प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के इस प्रस्ताव को संयुक्त राष्ट्र सभा में 177 देशों द्वारा समर्थन दिया गया। योग से संबंधित इस प्रस्ताव को 90 दिनों के अंदर ही पूरे बहुमत के साथ मंजूरी दे दी गई। 

अंतर्राष्ट्रीय योग दिवस को पूरे दुनिया में मनाया गया जो भारत की सबसे बड़ी जीत है। बहरहाल इस प्रस्ताव को बड़े पैमाने पर भारत के कई अध्यात्मिक और योग गुरुओं द्वारा समर्थन प्राप्त हुआ। 

योग और समाज सेवा के एक सबसे बड़े चेहरे गुरु श्री श्री रविशंकर जी तथा उनके अन्य योग गुरु द्वारा 21 जून के दिन को अंतर्राष्ट्रीय योग दिवस घोषित करने के लिए प्रेरित किया गया। 

क्योंकि 21 जून पूरे साल का सबसे लंबा दिन होता है, इसीलिए मानव की आयु भी ऐसी ही लंबी और स्वस्थ रहे इसीलिए 21 जून को अंतर्राष्ट्रीय योग दिवस मनाए जाने का प्रस्ताव पारित किया गया।

संयुक्त राष्ट्र महासभा द्वारा अंतर्राष्ट्रीय योग दिवस को पारित करने के पश्चात 21 जून 2015 को सभी देशों में योग दिवस मनाया गया। यदि योग के उद्भव की बात करें तो माना जाता है कि इसकी शुरुआत स्वयं भगवान शिव द्वारा की गई थी। 

भगवान शिव को आदियोगी भी इसीलिए कहा जाता है। पौराणिक ग्रंथों के अनुसार महर्षि पतंजलि द्वारा धरती पर योग का प्रारंभ हुआ था। महर्षि पतंजलि सनातन संस्कृति के सबसे बड़े ऋषि थे, जिन्होंने योग के संबंध में कुल 8 सिद्धांत बताए थे। 

इसके अलावा हिंदुओं के सबसे पवित्र ग्रंथ भगवत गीता में भी योग के तीन प्रकार बताए गए हैं, जिनमें कर्म योग, भक्ति योग और ज्ञान योग का समावेश होता है।

अंतर्राष्ट्रीय योग दिवस का महत्व Importance of International Yoga Day in Hindi

आजकल के भागदौड़ भरी जीवनशैली में किसी को इतना समय नहीं मिल पाता कि वे स्वयं को स्वस्थ रखने के लिए कोई अन्य क्रियाकलाप करें। ऐसी स्थिति में लोगों का झुकाव योग की तरफ हुआ है। 

काम के बोझ से लोग अपना तनाव और थकान दूर करने के लिए योग का सहारा लेते हैं। योग में इतनी शक्ति है, कि वह बिना किसी दवाई को ग्रहण किए बीमारियों को ठीक करने की क्षमता रखता है। स्वस्थ रहने के लिए साधारण और पोषक तत्वों से परिपूर्ण खानपान के अलावा योगा करना भी बहुत आवश्यक है।

जब से दुनिया में कोरोना वायरस का प्रकोप फैला है, तभी से लोग स्वास्थ्य के लिए बहुत सजग हो गए हैं। महामारी के दौरान लोगों के पास दो ही विकल्प बचते हैं, या तो वे अपने स्वास्थ्य को मजबूत करने के लिए योग का सहारा ले या फिर कमजोर इम्यून सिस्टम की वजह से अपनी जान गवा बैठे। 

इस दौरान करोड़ों लोगों ने अपने जीवन में योग को स्थान दिया है। एक स्वस्थ जनसंख्या ही विकासशील राष्ट्र का निर्माण कर सकती है। खराब स्वास्थ्य यह किसी भी देश की सबसे नाजुक समस्या होती है, जिसका निदान करना बहुत जरूरी है।

अंतर्राष्ट्रीय योग दिवस पूरे विश्व को एक खुशहाल और स्वस्थ जीवन जीने के लिए प्रेरणा देता है। इस दिन को मनाने का मुख्य उद्देश्य लोगों को उनके स्वास्थ्य के प्रति जागरूक करना है। 

यदि बिना पक्षपात किए देखा जाए तो जब लोगों को कोई बीमारी होती है, तो वे जल्दी ठीक होने के लिए एलोपैथ का सहारा लेते हैं जिसकी दवाइयां शरीर में जाते ही बीमारियां तो ठीक कर देती है लेकिन शरीर कमजोर पड़ जाता है।

लेकिन योग में ऐसा कुछ भी नहीं होता है, क्योंकि योग यह भौतिक रूप से किया जाने वाला अभ्यास है, जिससे केवल सकारात्मक प्रभाव ही देखा जाता है। योग यह बड़े से बड़े रोगों को ठीक करने की क्षमता रखता है।

21 जून का दिन इसलिए भी विशेष है, क्योंकि इस समय सूर्य ग्रीष्म संक्रांति के दौरान दक्षिणायन  की तरह प्रवेश करता है। अंतर्राष्ट्रीय योग दिवस यह शरीर का आत्मा से मिलन है। तमाम शारीरिक व्याधियों के अलावा मानसिक तनाव को दूर करने की शक्ति केवल योग में है। 

यदि देखा जाए तो आधुनिक युग के युवा पीढ़ी अपना स्वास्थ्य अच्छा रखने के लिए जिम जाते हैं। लेकिन योग की बराबरी कोई भी अन्य अभ्यास नहीं कर सकता। योग की सबसे अच्छी बात यह है कि इसे कोई भी सीख सकता है।

सभी को अपने जीवन में योग का अभ्यास जरूर करना चाहिए। खास तौर पर युवाओं को योग जरूर करना चाहिए। अंतर्राष्ट्रीय योग दिवस के दिन भारत सहित कई देशों में बहुत बड़े स्तर पर योगा किया जाता है।

अंतर्राष्ट्रीय योग दिवस का महत्व इसलिए भी है, क्योंकि यह सनातन धर्म की संस्कृति से जुड़ा हुआ है। आदि योगी जो भगवान शिव का दूसरा नाम है, उन्होंने ग्रीष्म संक्रांति के समय ही योग की शुरुआत की थी। 

ऐसा कहा जाता है कि आदि योगी ने सबसे पहले सप्तर्षियों को योग की शिक्षा दी थी, जिसके बाद संस्कृति के प्रवाह के साथ ही योग आज तक जीवंत है।

अंतर्राष्ट्रीय योग दिवस कब है? When is International Yoga Day in Hindi

भारत सहित दुनिया के तमाम देशों में 21 जून के दिन अंतरराष्ट्रीय योग दिवस मनाया जाता है। हालांकि योग यह भारत के सबसे प्राचीन परंपरा का हिस्सा है, लेकिन इसे पहली बार 2015 में दुनिया द्वारा अपनाया गया।

अंतर्राष्ट्रीय योग दिवस 2022 थीम International Yoga Day 2022 Theme in Hindi

अंतर्राष्ट्रीय योग दिवस यह पूरी दुनिया के लोगों के लिए एक महत्वपूर्ण दिन होता है। योग दिवस एक सार्वजनिक दिन होता है, जिसके कारण संयुक्त राष्ट्र के ऑफिशियल वेबसाइट पर अंतरराष्ट्रीय योग दिवस के संदर्भ में हर वर्ष अलग-अलग थीम निर्धारित किए जाते हैं। 2021 से अंतरराष्ट्रीय योग दिवस के लिए ‘मानव तंदुरुस्ती और कल्याण के लिए योग’  थीम रखा गया था।

अंतर्राष्ट्रीय योग दिवस कैसे मनाया जाता है? How Is International Yoga Day Celebrated in Hindi?

योग को अंतरराष्ट्रीय दर्जा दिलवाने के लिए भारत ने बहुत कड़ी तपस्या की है। जब पहली बार 2015 में भारत में अंतरराष्ट्रीय योग दिवस मनाया गया, तब पूरे देश में लोगों के चेहरे पर जो खुशी थी वह वाकई में देखने लायक थी। 

पहले योग दिवस को यादगार बनाने के लिए देश की सरकार ने योग गुरु बाबा रामदेव के साथ कई बड़े कार्यक्रम आयोजित किए थे।

अंतरराष्ट्रीय योग दिवस का प्रचार पूरे देश में हो सके, इसके लिए कई सारी तैयारियां की जाती है। 21 जून को अंतर्राष्ट्रीय योग दिवस के प्रस्ताव को पारित करने के साथ ही भारत ने पहली बार विश्व रिकॉर्ड बनाया। 

जब पहली बार योग की शुरुआत भारत में हुई थी, तब करोड़ों लोगों ने इसमें प्रत्यक्ष रूप से हिस्सा लिया था। अंतरराष्ट्रीय योग के संदर्भ में भारत ने अपना नाम गिनीज बुक ऑफ वर्ल्ड रिकॉर्ड में दर्ज करवाया।

योग दिवस के दिन दिल्ली के राजपथ पर हर वर्ष भारत के प्रधानमंत्री राष्ट्र के युवाओं को अंतरराष्ट्रीय योग दिवस समारोह में भाग लेने के लिए प्रेरित करते हैं। दिल्ली में हर साल बहुत बड़े पैमाने पर लोगों द्वारा योग किया जाता है।

पहली बार राजपथ के समारोह में भारत के प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के साथ ही लगभग 36000 लोगों ने इस समारोह में हिस्सा लिया।

हर साल अंतरराष्ट्रीय योग दिवस के समारोह में हजारों लोगों द्वारा योग किया जाता है। इन कार्यक्रम में कई योग गुरुओं को अतिथि स्वरूप बुलाया जाता है, जो लोगों को योग करने में मार्गदर्शन प्रदान करते हैं। भारत के गौरव भारतीय सेनाओं द्वारा भी एक साथ मिलकर कैंपों में योगा किया जाता है।

इस दिन सामाजिक स्थलों पर बड़े पैमाने में लोगों द्वारा योग किया जाता है, जिसे  दर्शकों द्वारा सीधे टीवी पर लाइव प्रसारित किया जाता है। देश के तमाम शैक्षणिक संस्थानों में योग दिवस के दिन नाट्य स्पर्धा, चित्रकला, निबंध लेखन, संगीत, नृत्य, भाषण, खेलकूद इत्यादि की स्पर्धाएं आयोजित की जाती हैं। 

स्कूल और कॉलेजों में अंतरराष्ट्रीय योग दिवस के दिन बच्चों को योग का महत्व बताते हुए अपने जीवन शैली में प्रतिदिन योग को अपनाने के लिए प्रेरणा दी जाती है। अंतर्राष्ट्रीय योग दिवस यह भारत द्वारा दुनिया को दिया गया आज तक का सबसे बड़ा सौगात है।

निष्कर्ष Conclusion

इस लेख में आपने हिन्दी में अंतर्राष्ट्रीय योग दिवस पर निबंध (International Yoga Day Essay in Hindi) पढ़ा। आशा है यह लेख आपको जानकारी से भरपूर लगा होगा। अगर यह लेख आपको अच्छा लगा हो तो इसे शेयर जरूर करें।

1 thought on “अंतर्राष्ट्रीय योग दिवस निबंध International Yoga Day Essay in Hindi”

  1. बहुत अच्छे से सारगर्भित तरीके से स्पष्ट रूप से योग के हर पहलु को बताया गया है…

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