विश्व रेडियो दिवस पर निबंध Essay on World Radio Day in Hindi
आज के युग को विज्ञान का युग कहा जाता है। विज्ञान के अनेकों उपकरणों के कारण, आज के समय में मानव जीवन काफी ज्यादा आसान हो चुका है। एक सामान्य मनुष्य की दिनचर्या को यदि देखा जाए तो यह पाया जाएगा कि विज्ञान के अनेकों उपकरणों के बिना उसका जीवन काफी मुश्किल है।
जैसे जब वह घर से निकलता है तब उसे परिवहन की आवश्यकता होती है जो कि उसे कार्यालय तक पहुंचाए। उसी प्रकार जब वह कार्यालय पहुंचता है तो उसे कार्य करने के लिए कंप्यूटर की आवश्यकता होती है, और कार्यालय में अन्य कई प्रकार के उपकरण भी मौजूद होते हैं जो उसकी सहायता करते हैं। इसी प्रकार बाकी के पूरे दिन में वह विज्ञान का ऋणी रहता है।
विज्ञान के अनेकों उपकरणों में रेडियो का स्थान भी विशेष है। हालांकि इक्कीसवी सदी में रेडियो का प्रचलन उतना अधिक नहीं है, लेकिन आज भी उन गांवों में और सुदूर इलाकों में जहां पर बिजली तक मौजूद नहीं हैं, वहां पर रेडियो कार्य करता है। आज भी जब लोग अपना परिवहन लेकर निकलते हैं तो उसमें रेडियो लगा होता है। रेडियो का सभी उपकरणों में विशेष स्थान है।
विश्व रेडियो दिवस पर निबंध Essay on World Radio Day in Hindi
रेडियो की महत्ता को देखते हुए पहली बार 20th सितंबर 2010 को स्पेन की स्पेनिश अकेडमी ऑफ रेडियो आर्ट्स द्वारा युनेस्को में रेडियो डे मनाने के लिए कहा गया था।
स्पेन की इस मांग के बाद 2011 में युनेस्को की 36वीं सामान्य कॉन्फ्रेंस के दौरान 13 फरवरी का दिन विश्व रेडियो दिवस के रूप में चुना गया था। उसके बाद से ही 13 फरवरी को विश्व रेडियो दिवस के रूप में मनाया जाता है।
13 फरवरी को रेडियो दिवस चुनने के पीछे का कारण यह है कि इसी दिन 1946 में संयुक्त राष्ट्र द्वारा अपना पहला रेडियो संयुक्त राष्ट्र रेडियो स्थापित किया गया था।
विश्व रेडियो दिवस क्यों मनाया जाता है?
विश्व रेडियो दिवस को मनाने के पीछे यूऩेस्को द्वारा बहुत से उचित तर्क दिया गए थे। यूऩेस्को द्वारा निम्न लिखित तर्क, विश्व रेडियो दिवस मनाने के लिए दिए गए थे :-
- यूऩेस्को के अनुसार रेडियो संपर्क साधने के सबसे पुराने साधनों में से एक है। टेलीविजन और मोबाइल फोन के आने से पहले, रेडियो ही केवल एक मात्र ऐसा साधन था जिसके जरिए विश्व के अनेकों समाचारों को जाना जा सकता था।
- यूऩेस्को ने अन्य कारण जो विश्व रेडियो दिवस को मनाए जाने के पीछे बताया वह यह था कि, रेडियो एकमात्र ऐसा साधन है जो काफी सस्ता है और जिसके द्वारा विश्व से आसानी से जुड़ा जा सकता है। यूऩेस्को के अनुसार रेडियो ही एक मात्र ऐसा साधन है जिसे सुदूर इलाकों में रहते हुए भी चलाया जा सकता है।
- विश्व रेडियो दिवस मनाने के पीछे, लोगों को रेडियो के बारे में बताना प्रमुख कारण था। आज के दौर में लोग टेलीविजन और मोबाइल फोन के आने के कारण रेडियो को लगभग भूल चुके हैं। विश्व रेडियो दिवस द्वारा लोगों को रेडियो के प्रति जागरूक करने के लिए विश्व रेडियो दिवस मनाया जाता है।
युनेस्को के अनुसार ऐसा भी नहीं है कि लोगों ने रेडियो को लगभग भुला ही दिया है। विश्व में आज भी कई ऐसे इलाके हैं जहां पर रेडियो ने लोगों को एक दूसरे से जोड़ रखा है। अगर वैश्विक स्तर पर देखा जाए तो रेडियो को सुनने वाले लोग करोड़ों में हैं।
विश्व रेडियो दिवस के प्रमुख बिन्दु
युनेस्को द्वारा विश्व रेडियो दिवस के लिए कुछ प्रमुख बिन्दु तैयार किए गए थे। ये प्रमुख बिन्दु उन लक्ष्यों की तरह देखें जा सकते हैं, जिन्हे वे विश्व रेडियो दिवस के जरिए रेडियो के लिए पूरा करना चाहते हैं। वे बिन्दु निम्न हैं :-
- युनेस्को लोगों को विश्व रेडियो दिवस के उपलक्ष्य में जागरूक करना चाहता था, इस कारण युनेस्को ने विश्व रेडियो दिवस को मनाना शुरू किया। यह युनेस्को के प्राथमिक कार्य बिन्दुओं में से एक है।
- कोई भी उपकरण केवल उसके उपयोगकर्ताओं द्वारा ही नहीं अपितु उस पर कार्य करने वाले लोगों द्वारा भी जीवित रहता है। युनेस्को की मुहिम का दूसरा लक्ष्य था अच्छे कलाकारों और निर्देशकों को रेडियो की ओर खींचा जाए। यह युनेस्को का दूसरा प्राथमिक कार्य बिन्दु है। युनेस्को द्वारा विश्व रेडियो दिवस इसी के उपलक्ष्य में मनाया जाता है।
- कार्य करने वाले और उपयोगकर्ताओं के पश्चात, श्रवण सामग्री की ओर भी युनेस्को ने कार्य किया और विश्व रेडियो दिवस को मनाकर युनेस्को रेडियो पर प्रसारित की जाने वाली श्रवण सामग्री की गुणवत्ता को भी बढ़ाना चाहता है। ऐसा करने से यह सीधा उपयोगकर्ताओं को प्रभावित करेगा और इससे वे
- विश्व रेडियो दिवस के पूछे युनेस्को का एक आखिरी कार्य बिन्दु था कि रेडियो के जरिए अनेकों सामाजिक मसलों पर होने वाली वैश्विक हलचल को आम जन तक पहुंचाया जाए।
विश्व रेडियो दिवस कैसे मनाएं?
विश्व रेडियो दिवस को मनाने के लिए आपका सर्वप्रथम एक रेडियो उपयोगकर्ता होना बेहद जरूरी है। उसके उपरांत विश्व रेडियो दिवस को मनाने के लिए निम्न बिंदुओं को देखा जा सकता है :-
जागरूकता फैलाएं
रेडियो को लेकर कई सारे लोग बिल्कुल भी जागरूक नहीं हैं। यदि उन्हे रेडियो के प्रति जागरूक किया जाए तो विश्व रेडियो दिवस मनाने का इससे अच्छा तरीका नहीं हो सकता।
रेडियो भेंट दें
विश्व रेडियो दिवस मनाने का सर्वाधिक कुशल तरीका है लोगों को रेडियो के प्रति जागरूक करना। लोगों को रेडियो के प्रति जागरूक करने के लिए आप चाहें तो अपने सम्बन्धियों को रेडियो भेंट कर सकते हैं। एक रेडियो भेंट के स्वरूप में बिल्कुल भी बुरा नहीं है और साथ ही यह उन लोगों के काम भी आ सकता है।
थीम को जानें
विश्व रेडियो दिवस पर हर वर्ष पर युनेस्को द्वारा अलग अलग प्रकार की थीम चलाई जाती है। विश्व रेडियो दिवस को मनाने के लिए उनकी थीम जानकर, उसपर कार्य किया जा सकता है।
वाद विवाद एवं प्रतियोगिता का आयोजन
विश्व रेडियो दिवस मनाने के अनेकों तरीकों में से एक यह भी है कि आप अपने आसपास के लोगों को इकठ्ठा करके रेडियो विषय पर वाद विवाद कराएं और प्रश्नोत्तरि प्रतियोगिता का आयोजन कराएं। ऐसा करने से वे जरूर जागरूक होंगे।
विश्व रेडियो दिवस थीम
युनेस्को द्वारा लोगों को विश्व रेडियो दिवस से जोड़ने के लिए हर वर्ष अनेकों प्रकार की थीम निकाली जाती है। इस थीम के पीछे युनेस्को का मकसद लोगों को रेडियो के प्रति जागरूक करना होता है।
साल 2014 में युनेस्को द्वारा “लैंगिक समानता और महिलाओं के सशक्तिकरण” को विश्व रेडियो दिवस की थीम बनाया था। साल 2015 में यह “युवा और रेडियो था। 2016 में बदलकर यह” खतरों और तत्काल समय में रेडियो का महत्व हो गया”। 2017 में यह” रेडियो तुम हो” था। 2018 में यह” रेडियो और खेल” हो गया। 2019 में यह “कथन, सहिष्णुता और शांति” था।
निष्कर्ष
विश्व रेडियो दिवस मनाने के पीछे युनेस्को का सबसे बड़ा मकसद है लोगों को रेडियो तक पहुंचाना। ऐसा नहीं है कि रेडियो लोगों की नजरों से ओझल हो गया, किंतु लोगों ने केवल रेडियो की ओर ध्यान देना कम कर दिया है, क्यूंकि यह अत्याधुनिक नहीं है।
लेकिन अनेकों प्रकार की परेशानियों के दौरान, जब प्राकृतिक या मानवीय आपदा आई होती है, तब रेडियो ही एक मात्र ऐसा साधन है, जो कार्य कर सकता है, एवं सूचना का विस्तार कर सकता है, इसलिए विश्व रेडियो दिवस मनाया जाना चाहिए और लोगों को रेडियो के प्रति जागरूक किया जाना चाहिए।