नई शिक्षा नीति 2020 New Education Policy India 2020 in Hindi
आईए जानते हैं नई शिक्षा नीति (2020 New Education Policy India 2020 in Hindi) क्या है? साथ ही इसकी मुख्य विशेषताएं, ज़रूरत, फ़ायदे, लागू कब होगा, मुख्य चुनौतियों के विषय में बताया गया है।
नई शिक्षा नीति 2020 New Education Policy India 2020 in Hindi
भारत की राष्ट्रीय शिक्षा नीति में कुछ बड़े बदलाव हुए हैं जिन्हें नई शिक्षा नीति 2020 का नाम दिया गया है। 11 सितम्बर को भारत के प्रधानमंत्री श्री नरेन्द्र मोदी ने अपने संबोधन में नई शिक्षा निति के बारे में बताया जिसमें 34 साल पुराने शिक्षा नीति में परिवर्तन कर नई शिक्षा नीति को भारत में जल्द लागू करने की बात कही।
उन्होंने कहा की पुरानी शिक्षा नीति यह सिर्फ मार्कशीट तक सिमित हो गयी है जिसे बदलने की आवश्यकता है। प्रधानमंत्री जी ने यह भी कहा की आज मार्कशीट का मतलब “मेंटल प्रेशर शीट” हो गयी है।
जिससे विद्यार्थियों की क्रिएटिविटी ख़त्म हो रही है इसलिए नई शिक्षा नीति यह बेहद जरुरी हो गयी थी। साथ ही इससे विद्यार्थियों का मानसिक तनाव भी बढ़ रहा है।
पुरानी शिक्षा नीति क्या थी? What was the Old Historical Education Policy in India
भारत की प्रथम शिक्षा नीति का गठन 24 जुलाई 1968 में किया गया था जिसमें राष्ट्रीय एकता और समाजवाद का प्रतिबिम्ब मुख्य था। दूसरी बार 1986 में शिक्षा नीति में बदलाव किया गया।
उसके बाद 2016 में प्रधानमंत्री श्री नरेन्द्र मोदी सरकार ने नई शिक्षा नीति पर कार्य करना शुरू किया और लगभग तीन सालों के मेहनत और दूरदर्शिता के बाद नई शिक्षा नीति 2020 का गठन किया गया।
नई शिक्षा नीति 2020 की मुख्य विशेषताएं Important Features of New Education Policy India 2020 in Hindi
(NEP) New Education Policy 2020 में शिक्षा की पुरानी पद्धति में आमूलचूल परिवर्तन करके एक नई शिक्षा पालिसी डॉक्यूमेंट को तैयार किया गया है जिसमें Read to Learn के बदले Learn to Read की नीति पर ख़ास जोर दिया गया है।
- रीड टू लर्न यानी किसी भी बच्चे को पहले पढ़ कर सीखने के बजाय अनुभव के आधार पर पहले सीख कर पढ़ने यानी लर्न टू रीड पर ज्यादा जोर दिया गया है। नई शिक्षा नीति में निम्न बदलाव किए गए हैं।
- नई शिक्षा नीति के अंतर्गत कुल बजट का 6% लगाने का प्रावधान है।
- नई शिक्षा नीति 2020 के तहत शुरुवाती पढ़ाई मातृभाषा और स्थानीय भाषा में देने का नियम बनाया गया है।
- नविन शिक्षा नीति के तहत 10+2 के शिक्षा मॉडल के जगह 5+3+3+4 मॉडल में विभाजित करने का प्रावधान है।
- इस शिक्षा नीति में दिव्यांगों के शिक्षा लिए तकनिक के उपयोग पर अधिक जोर दिया गया है।
- नई शिक्षा नीति के तहत MHRD – Ministry of human resource development के नाम को बदलकर शिक्षा मंत्रालय (Education Ministry) रखा गया।
- इस शिक्षा नीति में पुराने पाठ्यक्रम में कमी करके अनुभव के साथ शिक्षा ग्रहण करने पर जोर दिया गया है।
- नई शिक्षा पद्दति में कक्षा 6 से ही व्यावसायिक शिक्षा (Business Education) को शामिल करने का प्रावधान है।
- विद्यार्थियों के रिपोर्ट कार्ड सिस्टम में बदलाव किये गए हैं जिसमें रिपोर्ट कार्ड को वे स्वयं के आंकलन और अपने साथियों के द्वारा मूल्यांकन के आधार तैयार करने का नियम बनाया गया है। इस नई शिक्षा पद्धति में अंग्रेजी को सिर्फ एक भाषा के तौर पर पढ़ाये जाने पर जोर दिया गया है।
- इस नई नीति में विद्यार्थीयों के लिए स्किल डेवलपमेंट तथा इंटर्नशिप का प्रावधान है।
- नविन शिक्षा नीति के तहत तकनिकी पढाई जैसे कृतिम बुद्धि AI – Artificial intelligence तथा रोबोटिक्स पर जोर दिया गया है।
- इस शिक्षा नीति में शिक्षा का अधिकार (RTE) Right to education के लिए 6 से 14 वर्ष की सीमा को बढ़ा कर 3 से 18 साल कर दिया गया।
नई शिक्षा नीति क्यों जरुरी थी? Why NEP India 2020 is Important?
पुरानी शिक्षा नीति पढ़ाई के प्रति जागरूकता फैलाने के उद्देश्य से अच्छी थी लेकिन वर्तमान के आधुनिकीकरण की स्पर्धा में पुरानी शिक्षा नीति सिर्फ व्यवधान ही बन रही थी क्योंकि पुरानी शिक्षा नीति में अनुभव व ज्ञान को नहीं सिर्फ मार्क्स को महत्व दिया जा रहा था।
शिक्षा के पाठ्यक्रम में अधिकता और असंतुलन के कारण विद्यार्थी के ऊपर अनावश्यक भार स्वरुप बन रहा था। जहाँ कला और कौशल को आधार बनाना चाहिए था वहाँ किसी भी प्रकार उत्तीर्ण हो जाने की होड़ लगी हुई थी। बच्चे पाठ को समझने के बजाय रटने पर ध्यान अधिक केन्द्रित करते थे और परिणाम स्वरुप एक बड़ी मात्रा में समय और धन का सही उपयोग नहीं हो पाता था।
कॉलेज के विद्यार्थी कुछ नया सीखने और अनुभव प्राप्त करने के बजाय नौकरियों को अपने जीवन का लक्ष्य मानने लगे थे जिसके कारण नौकरी के क्षेत्रों में स्पर्धा बढ़ गयी थी और डीग्री होने के बावजूद भी बेरोजगारी का सामना करना पड़ता था।
नई शिक्षा नीति के फायदे? Benefits of this 2020 New Education Policy in Hindi?
शिक्षा को जीवन का आधार कहा गया है शिक्षा का सही अर्थ चीजों की वास्तविकता को जानना है ना कि कुछ किताबों को याद कर उन्हें कुछ पन्नों पर उतारना।
नई शिक्षा नीति के अनेक फायदे हो सकते हैं क्योंकि नई शिक्षा नीति 2020 में मार्कशीट सिस्टम में बड़े बदलाव किए गए हैं तथा कक्षा 6 से ही कोई एक स्किल पर ज्ञान लेने का विकल्प भी है नई शिक्षा नीति के निम्न फायदे हो सकते हैं।
नई शिक्षा नीति के अनुसार छोटे बच्चों को अतिरिक्त भार से मुक्ति मिलेगी और उन्हें प्रारंभिक ज्ञान अपनी मातृभाषा या स्थानीय भाषा में मिलेगी जिसके कारण उनका शुरुआती विकास त्वरित होगा।
शिक्षा नीति 2020 में अंग्रेजी को सिर्फ एक भाषा की तरह पढ़ाया जाएगा जिससे शिक्षार्थियों का मातृभाषा के प्रति रुझान बढ़ेगा।
इस नई शिक्षा नीति में पढ़ने से ज्यादा सीखने पर जोर दिया गया है ताकि शिक्षार्थी आगे चलकर अपने लिए कोई एक व्यवसाय खड़ा कर सकें।
नई शिक्षा पद्धति के अंतर्गत व्यवसायिक पाठ्यक्रम को कक्षा 6 से ही शामिल किया गया है तथा इंटर्नशिप की भी व्यवस्था है ताकि विद्यालय खत्म होते-होते विद्यार्थी किसी एक कौशल में पारंगत हो सके और अपने लिए आजीविका खोज सकें।
शिक्षा नीति में विद्यार्थी के जिज्ञासा को प्राथमिकता दी गई है रीड टू लर्न के स्थान पर लर्न टू रीड पर विशेष जोर दिया गया है।
नई शिक्षा नीति के तहत इतिहास के विद्यार्थी विज्ञान शाखा को भी चुन सकेंगे तथा किसी भी दिक्कत के आने पर सब्जेक्ट ड्रॉप भी कर सकेंगे।
नई शिक्षा नीति कब से लागू होगी? Implementation of New Education Policy in India
नई शिक्षा नीति के अध्यक्ष टी.एस.आर सुब्रमण्यम जी ने 2016 में मंत्रालय को अपनी रिपोर्ट सौपी थी जिसमें 20 अगस्त 2020 तक इसे लागू करने का प्रावधान था लेकिन आपदा के कारण इसमें देरी हुई।
नई शिक्षा नीति 2020 की सभी पॉलिसीस को लागू करने में कई साल लगेंगे क्योंकि भारत की स्कूल व्यवस्था बहुत ही पुरानी है। सरकार ने न्यू-प्री प्राइमरी एजुकेशन को 3 से 5 साल के विद्यार्थियों को 2025 तक उपलब्ध कराने का तानाबाना बुना है।
नई शिक्षा नीति को सन 2030 तक पुरे भारत में लागू करने का प्रावधान है जिसमें 3 से 18 वर्ष की आयु वाले सभी विद्यार्थियों को इस NEP- 2020 के अन्दर लाने का प्रयास होगा।
नई शिक्षा नीति के मार्ग की चुनौतियां Challenges in Implementation of NEP (New Education Policy) of India
इस 34 साल पुरानी शिक्षा पद्धति के कारण शिक्षकों तथा विद्यार्थियों की मानसिकता में परिवर्तन इस नीति के लिए बहुत बड़ी चुनौती होगी। शिक्षकों पर इस नीति को समझने तथा अमल में लाने का दबाव बढ़ेगा जिसके लिए उन्हें आवश्यक ट्रेनिंग की जरूरत होगी।
न्यू एजुकेशन पॉलिसी 2020 के तहत 3 से 6 वर्ष के बच्चों को शुरुवाती पढ़ाई देने के लिए नए प्रशिक्षण केंद्र बनाने पड़ेंगे क्योंकि आंगनवाड़ी की समर्थता बेहद कम होती है। इस नई शिक्षा नीति में व्यवसायिक ज्ञान को भी शामिल किया गया है।
इस नई शिक्षा नीति को आत्मसात्करण करने में समय लग सकता है। इसके प्रयासों में बड़े समय तथा साधनों की आवश्यकता होगी।
इस नई शिक्षा नीति को कारगर बनाने के लिए अनुभवी तथा क्रियात्मक शिक्षकों की आवश्यकता होगी जिन की भर्ती की गुणवत्ता को पहचानना एक मुख्य काम तथा चुनौती होगी।
न्यू एजुकेशन पॉलिसी 2020 में विद्यार्थियों को तकनीकी सक्षमता प्रदान करने का प्रावधान है लेकिन जो विद्यार्थी आर्थिक रूप से सक्षम नहीं है उनके लिए यह बहुत बड़ी चुनौती होगी।
निष्कर्ष Conclusion
भारत के प्रधानमंत्री श्री नरेंद्र मोदी जी ने अपने संबोधन में न्यू एजुकेशन पॉलिसी 2020 के बारे में विस्तार से बताया है। आशा है यह नई शिक्षा नीति 2020 भारत के शिक्षा प्रणाली को और भी आसान और बेहतर बनाने में मदद करे।
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